27.1 C
New Delhi
April 20, 2024
देश

बांसवाड़ा में केदारनाथ हाइवे पर बरस रहे हैं पत्थर

-जगह-जगह हाइवे बंद होने से केदारनाथ धाम की यात्रा प्रभावित
-केदारनाथ यात्रा पड़ावों पर दो दिनों से आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति ठप

रुद्रप्रयाग: केदारघाटी की लाइफ लाइन और केदारनाथ धाम जाने का एक मात्र साधन केदारनाथ हाइवे बारिश और भूस्खलन के चलते जगह-जगह बंद हो गया है। हाइवे के बांसवाड़ा में पहाड़ी से मलबा और बोल्डर बरसात की तरह बरस रहा है। जबकि गुप्तकाशी में हाइवे का लगभग बीस मीटर हिस्सा पूरी तरह से बारिश में बह गया है। किसी तरह से वैकल्पिक मार्गों से यात्रियों और स्थानीय लोगों की आवाजाही करवाई जा रही है।

पहाड़ों में आफत की बारिश जारी है। बारिश का सबसे बुरा असर केदारनाथ धाम की यात्रा के अलावा केदारघाटी के आम जन जीवन पर पड़ रहा है। बांसवाड़ा और भीरी में दो दिनों से केदारनाथ हाइवे बंद होने के कारण केदारनाथ यात्रा के मुख्य पड़ाव गौरीकुंड, सोनप्रयाग, सीतापुर, गुप्तकाशी, फाटा सहित अन्य क्षेत्रों में दो दिनों से आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति नहीं हो पाई है।

केदारनाथ हाइवे
केदारनाथ यात्रा पड़ावों पर दो दिनों से आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति ठप

भारी वाहन हाइवे पर ही फंसे हुये हैं। छोटे वाहनों को किसी तरह से वैकल्पिक मार्गों से भेजा जा रहा है। गुप्तकाशी में केदारनाथ हाइवे का एक बड़ा हिस्सा बारिश के कारण नीचे धंस गया है। जेसीबी मशीन के जरिये किसी तरह से हाइवे को खोलने के प्रयास किये जा रहे हैं। जबकि बांसवाड़ा में पहाड़ी से मलबा और बोल्डर बरसात की तरह बरस रहे हैं।

बांसवाड़ा में पहाड़ी से मलबा गिरने का यह सिलसिला दो दिनों से जारी है। कल इसी मलबे में आने से एक किशोर की भी मौत हुई है। स्थानीय निवासी विपिन सेमवाल ने कहा कि बारिश के कारण हाइवे के अलावा पैदल संपर्क मार्ग भी बाधित हो गये हैं। लगातार बारिश हो रही है, जिससे दिक्कतें बढ़ती जा रही हैं। वहीं पुलिस अधीक्षक रुद्रप्रयाग नवनीत सिंह का कहना है कि बांसवाड़ा में लगातार पत्थर गिर रहे हैं। जिस कारण हाइवे पर आवाजाही बंद है। वैकप्पिक मार्ग से आवाजाही करवाई जा रही है। संबंधित कार्यदायी संस्थाओं को भी आवश्यक दिशा-निर्देश दिये गये हैं।

पढ़ें: केदारनाथ के कपाट खोलने की तिथि घोषित, 17 मई को प्रातः 5 बजे खुलेंगे

Related posts

महिलाओं को सेना में स्थायी कमीशन ​के लिए बना चयन बोर्ड ​

Buland Dustak

दिल्ली पुलिस का 74वां स्थापना दिवस, सीने पर हैं कई दाग

Buland Dustak

असम चुनाव : दूसरे चरण का मतदान 01 को, चुनावी शोर थमा

Buland Dustak

नौसेना कर्मियों को अब रिटायर होने के बाद नौकरी के लिए भटकना नहीं पड़ेगा

Buland Dustak

राजनाथ सिंह ने शुरू किया Defence India Startup Challenge 5.0

Buland Dustak

राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर ​दर्ज होंगे गलवान में ​शहीद 20 सैनिकों के नाम

Buland Dustak