- रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पूरी दुनिया के रक्षा उद्योग को शामिल होने का न्योता दिया - यह अंतरराष्ट्रीय मंच रक्षा और एयरोस्पेस उद्योगों के बीच साझेदारी का बड़ा अवसर - आभासी सम्मेलन में 75 से अधिक देशों के प्रमुख, राजदूत और रक्षा मंत्री शामिल हुए
एयरो इंडिया: रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने अगले साल होने वाले एशिया के सबसे बड़े एयरो शो के लिए विश्व के रक्षा उद्योग को आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि इस अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत स्वदेशी एयरोस्पेस और रक्षा विनिर्माण क्षमताओं को एक छतरी के नीचे प्रदर्शित करके अपनी ताकत दिखायेगा। भारत के पास दुनिया की सबसे बड़ी तकनीकी रूप से योग्य जनशक्ति है और हम सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अपनी ताकत का दावा करते हैं। यह दुनिया और भारत के रक्षा और एयरोस्पेस उद्योगों के बीच साझेदारी का बड़ा अवसर है।
हर दो साल में होने वाले एयर शो और विमानन प्रदर्शनी का 13वां संस्करण एयरो इंडिया-2021 बेंगलुरु में 03-07 फरवरी तक होने वाला है। इसी सिलसिले में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बुधवार को वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से विभिन्न देशों के राजदूतों के गोलमेज सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। इस आभासी सम्मेलन में 200 से अधिक लोगों ने भाग लिया जिसमें 75 से अधिक देशों के प्रमुख, राजदूत और रक्षा मंत्री शामिल थे। उन्होंने कहा कि हम एक शांतिप्रिय देश हैं। हम दुनिया भर में शांति और स्थिरता के लिए प्रतिबद्ध हैं।
हम इस विश्वास के लिए भी प्रतिबद्ध हैं कि आत्म-भरोसा और स्वदेशी रक्षा क्षमताएं शांति के स्थायित्व की नींव हैं। भारत में एशिया की सबसे बड़ी रक्षा औद्योगिक इको-प्रणाली है और हम अपनी ताकत बढ़ाने के लिए और अधिक निर्माण करने की आकांक्षा रखते हैं। विदेशी प्रत्यक्ष निवेश के माध्यम से निजी क्षेत्र और सार्वजनिक-निजी भागीदारी वाले उद्योग भी घरेलू रक्षा और एयरोस्पेस उद्योग के निर्माण में शामिल हो गए हैं।
रक्षा उद्योग में अपने लिए एक जगह बना ली
उन्होंने कहा कि एयरो इंडिया-2021 भारतीय रक्षा और एयरोस्पेस उद्योग की क्षमताओं को दिखाने का प्रमुख अंतरराष्ट्रीय कार्यक्रम बन गया है। यह भारत के इरादे को प्रदर्शित करने का भी मंच है। अपनी स्थापना के बाद से एयरो इंडिया ने दिया के रक्षा उद्योग में अपने लिए एक जगह बना ली है। उन्होंने कहा कि एयरो इंडिया वैश्विक रक्षा और एयरोस्पेस पारिस्थितिकी तंत्र में योगदान देने और भारत को एक रक्षा विनिर्माण केंद्र के रूप में योगदान करने के लिए है। रक्षा मंत्री ने कहा कि यह मंच व्यवसायों, निर्णय निर्माताओं और नीति निर्माताओं की सामान्य चिंताओं को दूर करने का माध्यम भी है।
बुनियादी ढांचे और मानव संसाधन के साथ भारत रक्षा और एयरोस्पेस उद्योग के लिए मरम्मत, ओवरहाल, रखरखाव और सर्विसिंग सुविधाओं के लिए एक उत्कृष्ट आधार साबित हो सकता है। यह क्षेत्रीय वितरण और सेवाओं का केंद्र भी बन सकता है। एयरो इंडिया-2021 का उपयोग रक्षा उद्योग में आ रही चुनौतियों और चिंताओं के बारे में सरकार के स्तर पर चर्चा के लिए भी किया जा सकता है।
एयरो इंडिया 2021 के बारे में जागरुकता
रक्षा मंत्री ने कहा कि कई व्यावसायिक कार्यक्रमों और बड़ी संख्या में प्रतिभागियों के साथ एयरो इंडिया सैन्य औद्योगिक उद्यम विकसित करने का आधार बनेगा। अन्य सेवाओं के लिए स्थापित भारतीय कंपनियों के साथ साझेदारी करने के लिए दुनिया भर में अग्रणी कंपनियों के लिए एक उत्कृष्ट अवसर प्रदान करेगा। हमारी सरकार रक्षा और एयरोस्पेस उद्योग में निवेश को आकर्षित करने के लिए लगातार नीतिगत पहल कर रही है।
डिजाइन से उत्पादन तक हम भारत को सार्वजनिक और निजी क्षेत्र की सक्रिय भागीदारी के साथ रक्षा, एयरोस्पेस और नौसेना जहाज निर्माण क्षेत्रों में दुनिया के अग्रणी देशों में से एक बनाने की कोशिश कर रहे हैं। इसलिए मैं आपसे आग्रह करूंगा कि आप एयरो इंडिया 2021 के बारे में जागरुकता फैलाएं और अपने उद्योग और अनुसंधान संगठनों को इस आयोजन में भाग लेने और अवसरों का फायदा उठाने के लिए प्रोत्साहित करें।
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